- जमाते इस्लामी हिन्द की तरफ से मस्जिद नूर में आयोजित किया गया कार्यक्रम
जौनपुर। जमाते इस्लामी हिन्द की तरफ से मजहबे इस्लाम के आखिरी पैगम्बर हजरत मोहम्मद स.अ.व के दुनिया में आमद का उत्सव (यौमे पैदाइश) पर शुक्रवार को शाही किला गेट स्थित मस्जिद नूर में जुमा की नमाज के बाद कार्यक्रम आयोजित किया गया। जहां जनाब ताहिर जमाल ने मोहम्मद साहब के जीवन और उनके बताए रास्ते पर चलने की बात पर जोर दिया।
उन्होंने कहा कि हजरत मोहम्मद साहब दुनिया में इन्सानियत का पैगाम लेकर आए। उन्होंने लोगों को आपस में मिलजुलकर रहने की सीख दी। उनके द्वारा जब इस्लाम का संदेश दिया जा रहा था तो उन पर बहुत जुल्म ढाए गए। उन्हें परेशान किया जाने लगा लेकिन मोहम्मद साहब ने दीन को फैलाने का काम जारी रखा। उन्होंने कहा कि इंसान को चाहिए कि वह अल्लाह ही की बन्दगी करे और और अल्लाह पर ही भरोसा करे। कुछ लोग समझते हैं कि जुमा की नमाज बढ़ ली तो नमाज हो गई।
पांचों वक्त की नमाज पढ़ना जरूरी है। मुश्किल वक्त में नमाज और सब्र से अल्लाह से मदद मांगी जाय तो अल्लाह की मदद जरूर आएगी। अल्लाह के साथ किसी को शरीक नहीं करना चाहिए, वही खालिक है वही मालिक है। ये अल्लाह का एहसान है कि हमें ईमान वाले घर में पैदा किया, ये समझना जरूरी है। उन्होंने कहा कि सिर्फ नाम का मुसलमान होने से या मां-बाप के मुसलमान होने से कोई अफजल नहीं होगा बल्कि जिस लिए दुनिया में हम पैदा हुए उसका मकसद समझना जरूरी है। आज लोग परेशान हैं, घरों में सुकून नहीं है, कारोबार में सुकून नहीं है, हर जगह फसाद है, वो इसलिए कि लोगों ने अल्लाह से अपना रिश्ता तोड़ लिया है।
मुसलमान अगर अल्लाह की रस्सी को मजबूती से पकड़े रहे तो उसकी तमाम परेशानियां दूर हो जाएंगी। कार्यक्रम का संचालन संचालक फर्रूख सियर और शुक्रिया सफीकुज्जमा ने अदा किया। इस अवसर पर अजहर शमीम, डा. अख्तर सईद, मास्टर शमीम अहमद, मास्टर रफीक अहमद, मो. आमिर, डा. अबू अकरम सहित तमाम लोग उपस्थित रहे।