बिपिन सैनी
चौकियां धाम, जौनपुर। शारदीय नवरात्र के सातवें दिन कालरात्रि स्वरूप में भक्तों ने किया दर्शन पूजन उदया तिथि के अनुसार 29 सितंबर को नवरात्रि सप्तमी के दिन कालरात्रि माता की पूजा करने से सुख-समृद्धि बनी रहती है साथ ही अकाल मृत्यु का भय नहीं रहता। मां कालरात्रि के चार हाथ तीन नेत्र हैं। मां कालरात्रि को यंत्र, मंत्र और तंत्र की देवी भी माना जाता है।
मां कालरात्रि का शरीर अंधकार की तरह काला है। मां के बाल बड़े और बिखरे हुए हैं। मां की श्वास से आग निकलती है। माता के गले में पड़ी माला बिजली की तरह चमकती है। एक हाथ में माता ने तलवार, दूसरे में लौह शस्त्र, तीसरे हाथ वरमुद्रा और चौथे हाथ अभय मुद्रा में है।
प्रातः काल मन्दिर के कपाट खुलने के पश्चात मातारानी जी का भव्य श्रृंगार कर मंदिर पुजारी चंद्रदेव पंडा ने आरती पूजन किया। भक्तों की लंबी कतार मातारानी जी के दर्शन पूजन के लिए लगी हुई थी कतार में खड़े होने दर्शनार्थी बारी बारी से दर्शन पूजन करते हुए नज़र आए। दूरदराज से आए हुए भक्तों ने नौनिहाल छोटे बच्चों का मुंडन संस्कार कराने के बाद हलुवा पुड़ी फल फूल प्रसाद चढ़ाकर मातारानी जी का पूजन किया। हवन पूजन मातारानी जी के जय जयकारों से सारा वातावरण भक्तिमय हो गया।
मातारानी जी के दर्शन पूजन करने के पश्चात भक्तजन पवित्र कुण्ड के बगल में स्थित बाबा काल भैरवनाथ नाथ। मां काली मंदिर में दर्शन पूजन किए। सुरक्षा की दृष्टि से मन्दिर परिसर क्षेत्र में शीतला चौकियां चौकी प्रभारी ईश यादव सहयोगी पुलिस पीएसी दल के साथ मेला क्षेत्र में उपस्थित रहे।
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