• नियमित करें सूर्य नमस्कार: आचार्य कृष्ण मुरारी आर्य

जौनपुर। बदलते हुए इस मौसम में मध्यम गति के साथ लम्बी दूरी तक टहलकर अथवा नियमित और निरन्तरता के साथ अधिकतम अनुलोम-विलोम प्राणायामों के अभ्यासों को करके बीपी और ह्रदय जैसी समस्याओं से ग्रस्त व्यक्ति खुद को बिलकुल स्वस्थ रह सकता है। यह बातें पतंजलि योग समिति के तत्वावधान में स्वस्थ और खुशहाल जौनपुर के तहत 25 स्थानों पर एक साथ चल रहे 25 दिवसीय विशेष योग प्रशिक्षण शिविर में माँ राजदेई महिला विद्यालय के प्रबन्धक डा. राघवेन्द्र प्रताप सिंह ने साधकों को योगाभ्यास कराते हुए कही।

साधकों को उम्र के साथ रोगानुसार विविध प्रकार के आसन, व्यायाम, ध्यान और प्राणायामों का अभ्यास कराते हुए अष्टांग योग, आहार-विहार, पतंजलि योग सूत्र, अष्टचक्र सहित कर्मयोग, भक्ति योग और हठयोग से सम्बंधित विविध सैद्धांतिक पक्षों का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
सुक्खीपुर स्थित माँ कौशल्या कान्वेंट स्कूल में प्रशिक्षुओं को प्रशिक्षण देते हुए पतंजलि योग समिति के प्रान्तीय सह प्रभारी अचल हरीमूर्ति ने बताया कि बदलते हुए इस मौसम में थोड़ी सी सावधानी बरतकर अनेकों समस्याओं से खुद को बचाया जा सकता है। इस मौसम में कमरे के भीतर ही शरीर को थोड़ा वार्मअप करके ही बाहर निकलना चाहिए। अदरक, गुरूच, गुड़, तुलसी और अजवाइन मिलाकर बनाये गये काढ़े के नियमित सेवन से शरीर के भीतर रक्त के साथ प्राणवायु का प्रवाह बहुत ही सुगमतापूर्वक होता रहता है जो कोलेस्ट्रॉल और ब्लाकेज जैसी समस्याओं से ग्रस्त व्यक्तिओं के लिए बहुत ही लाभदायक होता है।
पतंजलि योग समिति के जिला प्रभारी आचार्य कृष्णमुरारी आर्य के द्वारा प्रशिक्षुओं को योगाभ्यास कराते हुए बताया गया कि इस मौसम में किया गया सूर्यनमस्कार ठंड के साथ अनेकों समस्याओं का समाधान कर देता है। प्रत्येक व्यक्ति को अपनी-अपनी शक्ति और सामर्थ्य के अनुसार इसका नियमित अभ्यास करना चाहिए।