जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के इंजीनियरिंग संस्थान स्थित विश्वेश्वरैया हाल में गुरुवार को 'नंबर फ्रॉम काउंटिंग टू साइबर सिक्योरिटी' विषयक विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया।
जिसमें विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो. सुंदर लाल ने कहा कि गणित के बारे में हमारे शास्त्रों में लिखा है कि जिस प्रकार मोर के सिर पर शिखा होती है, नाग के मस्तिष्क पर मणि होती है, उसी प्रकार सभी शास्त्रों में गणित सर्वोच्च स्थान पर है। हमारे ऋषि-मुनियों की गणित के क्षेत्र में बहुत उपलब्धियां रही हैं।

उन्होंने 'पब्लिक की क्रिप्टोग्राफी' एवं इंक्रिप्शन पर विस्तार पूर्वक व्याख्यान दिया। व्याख्यान सुनने के लिए सभागार में भारी संख्या में विद्यार्थी आये और विषय सम्बंधित शंकाओं को दूर किया। पूर्व कुलपति प्रो. सुंदर लाल ने संचार युग में गणित के योगदान पर भी बात की।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. राजाराम यादव ने अध्यक्षीय सम्बोधन में कहा कि प्रो. सुंदरलाल ने बड़े सरल तरीके से गणित विषय की गूढ़ जानकारियां दी है। गणित विषयकी महत्ता भौतिकी, कंप्यूटर एवं अन्य विषयों के लिए भी बहुत अधिक है। उन्होंने प्रोफेसर सुंदरलाल को अंगवस्त्रम एवं स्मृति चिन्ह प्रदान किया।
संचालन डॉ. संतोष कुमार एवं धन्यवाद ज्ञापन प्रो. एके श्रीवास्तव ने किया। इस अवसर पर प्रोफेसर अजय द्विवेदी, डॉ. मनोज मिश्र, डॉ. राजकुमार सोनी, राकेश यादव, डॉ. दिग्विजय सिंह राठौर, डॉ. रजनीश भास्कर, डॉ. अमरेंद्र सिंह, डॉ. संजीव गंगवार आदि मौजूद रहे।





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