जौनपुर। मीरगंज क्षेत्र के मीरपुर गांव के ग्रामीणों ने छुट्टा पशुओं से तंग आकर बुधवार शाम प्राथमिक स्कूल के कैम्पस में बंद कर दिया। ग्रामीणों का आरोप है कि आवारा पशु फसलों को बर्बाद कर रहे हैं। खदेरने पर हमला भी बोल दे रहे हैं। गुरूवार की सुबह स्कूल खोलने पहुंचे प्रधानाध्यापक ने अधिकारियों को इसकी जानकारी दी। विद्यालय कैंपस में पशुओं के होने की वजह से पठन पाठन वहां नहीं हो सका। इसके बाद ​कैंपस के बाहर पठन पाठन कार्य शुरु हुआ। ज्यादातर बच्चे कैम्पस में पशु होने पर घर लौट गये।
लगभग पचास से ज्यादा पशु रात भर कैम्पस मे बंद रहे। जिससे कैम्पस में चारों तरफ गोबर फैल गया। गुरूवार की सुबह 9 बजे स्कूल खोलने पहुंचे प्रधानाध्यापक धर्मजीत ने कैम्पस में पशु बंधे होने पर खंड शिक्षा अधिकारी शैलपति यादव व प्राथमिक शिक्षक संघ मछलीशहर अध्यक्ष रोहित यादव को जानकारी दी। उसके बाद थानाध्यक्ष मीरगंज व डायल 100 को भी सूचना दी। सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंच गयी।

ग्रामीणों का आरोप है कि आवारा पशु लोगों की फसल बर्बाद कर रहे हैं। खेत में फसल चर रहे पशुओं को जब किसान खदेड़ने जाता है। तब आवारा पशु किसानों पर हमला बोल कर घायल भी कर दे रहे हैं जिससे आजिज आकर पशुओं को स्कूल के अदर बंद किया गया। पुलिस ने ग्रामीणों को काफी समझा बुझाया। जिसके बाद ग्रामीणों ने पशुओं को छोड़ दिया। लेकिन स्कूल कैंपस में गोबर गंदगी फैले होने की वजह से कई बच्चे वापस घर लौट गए। अन्य बच्चों के साथ कैंपस के बाहर पठन पाठन कार्य शुरू हुआ।
खण्ड शिक्षा अधिकारी मछलीशहर शैलपति यादव का कहना है कि कैम्पस में ग्रामीणो द्वारा पशु को अंदर बांधने की जानकारी प्रधानाध्यापक द्वारा मिली। इसके बाद मौके पर पहुंच रहा था। तभी पुलिस ने ग्रामीणों को समझाकर पशुओं को बाहर निकाल दिया। फिलहाल क्लास बगीचे में चलाई गई।




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