जौनपुर। सुरेरी थाना क्षेत्र के मुरकटिया गांव में शादी के 21 वर्षों बाद पति द्वारा अपनी पत्नी की गला घोंट कर हत्या कर देने के आरोप में अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय मनोज कुमार सिंह गौतम ने शनिवार को आरोपी पति को दोषी करार देते हुए खुले न्यायालय में आजीवन कारावास एवं एक लाख रूपये अर्थदंड की सजा सुनाई है।
अभियोजन कथानक के अनुसार वादी मुकदमा महेंद्र पटेल पुत्र राजाराम निवासी ग्राम ढोढ़ईपुर थाना बड़ागांव जनपद वाराणसी ने सुरेरी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि बहन शीला देवी की शादी लगभग 21 वर्ष पूर्व सुरेंद्र प्रताप पुत्र रामनारायण निवासी ग्राम मुरकटिया थाना सुरेरी के साथ हुई थी। शीला ने उसे बताया कि उसकी देवरानी से उसके पति का अवैध संबंध हो गया है, जिसकी वजह से घर में तनाव चल रहा था।

दिनांक 31 अगस्त 2016 को सुबह 10.30 बजे विवेकानंद इंटर कॉलेज के क्लर्क शिव शंकर ने फोन करके बताया कि रामनारायण बीमार हैं। इस सूचना पर जब मै शीला की ससुराल पहुंचा तो देखा कि शीला के कमरे में बाहर से कुंडी लगी थी और वहां शीला के पति सुरेंद्र प्रताप, ससुर रामनारायण, सास सुदामा देवी, देवरानी सीमा देवी, देवर सूर्यबली व जेठानी उर्मिला मौजूद थे। कुंडी खोल कर देखा तो चारपाई पर शीला मृत अवस्था में पड़ी थी। उसके गले में काला निशान पड़ा हुआ था और जमीन को पानी से लीपा गया था। जिससे स्पष्ट था कि इन लोगों ने शीला की हत्या करके साक्ष्य को मिटाने का प्रयास किया था।
पुलिस ने मामले की विवेचना पुरी करके आरोप पत्र कोर्ट में दाखिल किया अभियोजन पक्ष से एडीजीसी जवाहर लाल यादव व ज्ञानेन्द़ यादव ने द्वारा परीक्षित गवाहों के बयान एवं पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य के परीशीलन के पश्चात अदालत ने पति सुरेन्द्र प्रताप को सज़ा सुनाई तथा अन्य  आरोपियों को सन्देह का लाभ दे कर वरी कर दिया।