जौनपुर। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी डा. राजेंद्र सिंह ने बक्शा विकास खंड के खमपुर प्राथमिक विद्यालय पर तैनात प्रधानाध्यापक रामदत्त यादव की सेवा समाप्त कर दी। जांच में उनकी शास्त्री की डिग्री फर्जी पाए जाने पर बीएसए ने यह कार्रवाई की है।
वर्ष १९९९ में विशिष्ट बीटीसी के रूप में चयनित रामदत्त यादव की नियुक्ति प्राथमिक विद्यालय में सहायक अध्याक के पद पर हुई थी। बाद में पदोन्नति पाकर वह प्रधानाध्यापक बन गए। मौजूदा समय में उसकी तैनाती बक्शा विकास खंड के प्राथमिक विद्यालय खमपुर में थी।

बीएसए डा. राजेंद्र सिंह ने बताया कि लाइनबाजार थाना क्षेत्र के कुद्दूपुर निवासी तेज बहादुर यादव ने जन सुनवाई पोर्टल पर शिकायत की थी कि बक्शा रामदत्त यादव  फर्जी डिग्री पर नौकरी कर रहा है। उन्होंने १९८० में हाईस्कूल यूपी बोर्ड से और १९८२ में यूपी बोर्ड से इंटर मीडिएय की परीक्षा विज्ञान वर्ग पास की है। १९९२ में सम्पूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय वाराणसी से स्नातक के समकक्ष शास्त्री की डिग्री हासिल कर ली।
जबकि शास्त्री की डिग्री के लिए इंटर में संस्कृत विषय होना अनिवार्य है। लेकिन रामदत्त ने जब विज्ञान वर्ग में इंटर की परीक्षा पास की है तो शास्त्री में उनका दाखिला कैस हो गया। इस शिकायत पर वित्त एवं लेखाधिकारी नंद कुमार कुरील ने जांच की तो पता चला कि रामदत्त की शास्त्री की डिग्री फर्जी है। जांच रिपोर्ट के आधार पर बीएसए ने सेवा समाप्त कर दी।